पीड़ा को अर्थपूर्ण बनाना

पीड़ा को अर्थपूर्ण बनाना

सारांश

बहुत से लोग आज दुर्व्यवहार और शोषण का शिकार होते हैं। यीशु ने भी कष्ट का जीवन जिया। उसने दूसरों की मदद की, उन्हें चंगा किया और उन्हें एक बेहतर तरीका सिखाया। कुछ लोगों ने उससे घृणा की और उसे मार डाला, लेकिन तीन दिनों के बाद, वह जी उठा और स्वर्ग में अपने पिता के पास लौट गया। यह पुस्तिका यीशु के जीवन और पीड़ा के साथ-साथ हमारे खेदित मनों को चंगा करने के उसके वादे का संक्षिप्त विवरण प्रस्तुत करती है।

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